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नैनीताल में 12 साल की बच्ची से रेप, अधिकतर स्कूल-कॉलेज और बाजार बंद, हिंदूवादी संगठनों ने निकाला जुलूस

On: Thursday, May 1, 2025 6:44 PM
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उत्तराखंड के नैनीताल में एक 12 साल की बच्ची के साथ दुष्कर्म की दिल दहला देने वाली घटना ने पूरे शहर को हिलाकर रख दिया है। बुधवार रात से शुरू हुआ तनाव गुरुवार को भी जारी रहा, जिसके चलते बाजार बंद रहे और स्कूल-कॉलेजों में ताले लटक गए। पुलिस ने स्थिति को नियंत्रित करने के लिए भारी तैनाती की है, जबकि स्थानीय लोग और संगठन न्याय की मांग को लेकर सड़कों पर उतर आए हैं। 

नैनीताल में एक 76 वर्षीय व्यक्ति पर 12 साल की बच्ची के साथ लंबे समय तक दुष्कर्म करने का गंभीर आरोप लगा है। इस घटना के सामने आने के बाद बुधवार रात शहर में हंगामा शुरू हो गया। गुस्साए लोगों ने तोड़फोड़ और पथराव किया, जिसे नियंत्रित करने के लिए पुलिस को लाठीचार्ज करना पड़ा। गुरुवार को भी तनाव बरकरार रहा, और शहर के प्रमुख बाजार, मल्लीताल सहित कई क्षेत्रों में दुकानें और रेस्तरां बंद रहे। स्कूल-कॉलेजों को भी एहतियातन बंद रखा गया। इस घटना ने पूरे समुदाय को झकझोर कर रख दिया है, और लोग इस क्रूर अपराध के खिलाफ एकजुट हो रहे हैं।

गुरुवार सुबह से ही नैनीताल में हिंदूवादी संगठनों, वकीलों, और स्थानीय लोगों ने मिलकर जुलूस निकाले। हजारों प्रदर्शनकारी नारेबाजी करते हुए सड़कों पर उतरे और कमिश्नरी का घेराव किया। उनकी मांग थी कि आरोपी को कड़ी से कड़ी सजा दी जाए, जिसमें फांसी की सजा की मांग प्रमुख थी। पुलिस ने आरोपी को गिरफ्तार कर लिया है, लेकिन लोगों का गुस्सा अभी शांत नहीं हुआ है। प्रदर्शनकारियों का कहना है कि इस तरह की घटनाएं समाज में डर पैदा करती हैं, और दोषी को तुरंत सजा मिलनी चाहिए।

नैनीताल के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक (एसएसपी) प्रहलाद मीणा ने स्थिति को संभालने के लिए कड़े कदम उठाए हैं। शहर में कोतवाली और अन्य संवेदनशील क्षेत्रों में भारी पुलिस बल तैनात किया गया है। एसएसपी ने लोगों से शांति बनाए रखने की अपील की है और अफवाहों पर ध्यान न देने की सलाह दी है। उन्होंने स्पष्ट किया कि कानून को अपने हाथ में लेने की कोशिश करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। पुलिस ने तोड़फोड़ और पथराव में शामिल लोगों के खिलाफ भी कार्रवाई शुरू कर दी है, ताकि शहर में स्थिति सामान्य हो सके।

इस दुखद घटना ने नैनीताल के सामाजिक ताने-बाने पर गहरा प्रभाव डाला है। कुछ लोग इस मामले को सांप्रदायिक रंग देने की कोशिश कर रहे हैं, जिसके कारण मल्लीताल में कुछ समुदायों के रेस्तरां बंद कर दिए गए हैं। हालांकि, प्रशासन और सामाजिक संगठन इस बात पर जोर दे रहे हैं कि यह अपराध व्यक्तिगत है और इसे समुदाय से जोड़कर नहीं देखा जाना चाहिए। स्थानीय नेताओं और नागरिकों ने अपील की है कि लोग एकजुट रहें और इस घटना का जवाब शांति और कानूनी कार्रवाई से दें।

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